दिल्ली के नए उप राज्यपाल बने नजीब जंग, पद की शपथ ली

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पूर्व आईएएस अधिकारी नजीब जंग ने दिल्ली के नए उप राज्यपाल के तौर पर शपथ ले ली है। जंग ऐसे समय पर दिल्ली के उप राज्यपाल बने हैं जब राष्ट्रीय राजधानी के समक्ष महिलाओं की सुरक्षा, अनधिकृत कालोनियों के नियमितीकरण और कमजोर आधारभूत संरचना सहित कई चुनौतियां हैं।

62 वर्षीय जंग को दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य कार्यकारी न्यायाधीश बी डी अहमद ने यहां राजनिवास म…

दिल्ली के नए उप राज्यपाल बने नजीब जंग, पद की शपथ ली

पूर्व आईएएस अधिकारी नजीब जंग ने दिल्ली के नए उप राज्यपाल के तौर पर शपथ ले ली है। जंग ऐसे समय पर दिल्ली के उप राज्यपाल बने हैं जब राष्ट्रीय राजधानी के समक्ष महिलाओं की सुरक्षा, अनधिकृत कालोनियों के नियमितीकरण और कमजोर आधारभूत संरचना सहित कई चुनौतियां हैं।

62 वर्षीय जंग को दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य कार्यकारी न्यायाधीश बी डी अहमद ने यहां राजनिवास में पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाई। समारोह में मुख्यमंत्री शीला दीक्षित, उनके मंत्रिमंडलीय सहयोगी और दिल्ली सरकार तथा पुलिस के आला अधिकारी मौजूद थे। बहरहाल, जंग के पूर्ववर्ती तेजेन्दर खन्ना समारोह में शामिल नहीं हुए।

जंग 1973 के बैच के आईएएस अधिकारी हैं। राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने उन्हें पिछले सप्ताह दिल्ली के उप राज्यपाल पद पर नियुक्त किया था। वह दिल्ली के 19 वें उप राज्यपाल हैं। अब से ठीक 5 महीने बाद राष्ट्रीय राजधानी में विधानसभा चुनाव होंगे।

उप राज्यपाल के तौर पर जंग दिल्ली पुलिस और दिल्ली विकास प्राधिकरण के प्रभारी हौंगे तथा दिलली सरकार के प्रशासनिक प्रमुख भी होंगे। जंग ने उप राज्यपाल पद की शपथ लेने के बाद कहा कि कानून व्यवस्था में सुधार और महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करना उनकी प्राथमिकता होगी। उन्होंने कहा कि वह महिलाओं के खिलाफ अपराध को लेकर जीरो टॉलरेन्स (कतई बर्दाश्त नहीं करन) की नीति अपनायेंगे।

राजधानी में पिछले साल 16 दिसंबर की रात चलती बस में 23 वर्षीय एक छात्रा से सामूहिक बलात्कार की घटना के बाद पूर्व उप राज्यपाल खन्ना को कड़ी आलोचना का सामना करना पड़ा था। इसके अलावा, मुख्यमंत्री के साथ भी खन्ना के संबंध बेहतर नहीं थे और दोनों का कई मुद्दों पर टकराव हुआ था।

 18 जनवरी 1951 को जन्मे जंग ने दिल्ली विश्वविद्यालय से इतिहास में स्नातकोत्तर किया और फिर ब्रिटेन के लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स से सामाजिक नीति एवं नियोजन में एमए किया।

वर्ष 1973 में वह भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) से जुड़े और मध्यप्रदेश सरकार तथा अन्य महत्वपूर्ण पदों पर अपनी सेवाएं दीं जिनमें केंद्रीय पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्रालय में संयुक्त सचिव का पद भी शामिल है। जंग ने एशियाई विकास बैंक (एडीबी) और उर्जा संबंधी मुद्दों पर ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय के ऑक्सफोर्ड इन्स्टीट्यूट फॉर एनर्जी स्टडीज के साथ भी काम किया।    

वह शिक्षा और प्रशासन संबंधी मुद्दों पर केंद्र द्वारा गठित कई समितियों और विशेष कार्यबलों के सदस्य भी हैं। जंग भारतीय रिजर्व बैंक के सेंट्रल बोर्ड के निदेशक, कानपुर स्थित इंडियन इन्स्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी की सीनेट के सदस्य तथा उच्च शिक्षा संबंधी विभिन्न पहलुओं पर विचार करने के लिए केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्रालय द्वारा गठित कोर समिति के अध्यक्ष हैं।

जब उन्हें दिल्ली का उप राज्यपाल नियुक्त किया गया तब वह जामिया मिलिया इस्लामिया के कुलपति थे। मुख्यमंत्री शीला दीक्षित ने जंग को नया उप राज्यपाल बनाए जाने का स्वागत किया है। उन्होंने कहा उनसे (जंग से) हमें कई अपेक्षाएं हैं। हम उनकी नियुक्ति का स्वागत करते हैं।

यह पूछे जाने पर कि क्या खन्ना के साथ कानून व्यवस्था के मुद्दों पर उन्हें समस्याएं हुई थीं, दीक्षित ने कहा कि ऐसी कोई समस्या नहीं थी क्योंकि जिम्मेदारियां स्पष्ट रूप से विभाजित हैं। उन्होंने कहा जिम्मेदारियां स्पष्ट रूप से विभाजित हैं। उप राज्यपाल अपना काम करते हैं, हम अपना काम करते हैं। कानून व्यवस्था के मुद्दे पर समन्वय की कोई समस्या नहीं रही।