रतलाम। जिला अस्पताल में गर्भवती के पेट में बच्चे की मौत के मामले में सोनोग्राफी रिपोर्ट व उपचार करने वाले डॉक्टर जांच के दायरे में आएंगे। गर्भवती की निजी सेंटर पर कराई सोनोग्राफी की रिपोर्ट पर भी सवाल खड़े हो रहे हैं। सीएमएचओ डॉ. पुष्पेंद्र शर्मा मामले की जांच करेंगे।
मालूम हो कि 19 सितंबर की रात जिला अस्पताल के मेटरनिटी वार्ड में ड्यूटी पर तैनात डॉ. भाग्यश्री ने अनीता पति बलराम दास बैरागी के पेट में बच्चे की मौत होने पर उसे इंदौर ले जाने के लिए कहा था। महिला की पांच बार सोनग्राफी भी कराई गई। इंदौर ले जाने के लिए कहने पर परिजन ने डॉ मंजूसिंह पर लापरवाही बरतने का आरोप लगाया था।
मामला जांच में आने के बाद प्राथमिक जानकारी में 18 सितंबर को ही गर्भ में बच्चे की मौत होने की बात सामने आ रही है। दरअसल सोनोग्राफी में हर बार अलग भाषा में रिपोर्ट दी गई। इसमें बच्चे की मौत को लेकर भ्रम की स्थिति बनी। यही वजह है कि कलेक्टर डॉ संजय गोयल ने पूरे मामले की जांच के आदेश दिए हैं। बताया जाता है कि सोनोग्राफी करने वाले रेडियोलॉजिस्ट से लिखित में जवाब मांगा जाएगा वहीं डॉ मंजूसिंह से भी जवाब तलब होगा। सीएमएचओ डॉ शर्मा ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है।