रतलाम। कालिका माता मेले में नगर निगम मंच पर शनिवार की रात सजे अखिल भारतीय कवि सम्मेलन में देशभर के कवियों ने कविता पाठ के माध्यम से राष्ट्रप्रेम का अलख जगाया तो भ्रष्टाचारी नेताओं की जमकर लू भी उतारी।
हाल ही में हुए सर्जिकल स्ट्राइक को लेकर कतिपय नेताओं के बयानों मचे बवाल के बीच एक कवि ने तो यहां तक कह दिया अबकी दशहरा अमर हमारी याद में कर दो मोदीजी, रावण दहन दिल्ली में नहीं इस्लामाबाद में कर दो मोदीजी। तो दूसरे कवि भी कहां पीछे रहने वाले थे
उन्होंने तो यहां तक कह दिया कि हम विदेशों से हार नहीं सकते हैं बस हारे हैं तो हमारे देश के ग²ारों से। कवि सम्मेलन का शुभारंभ मेला एवं तीर्थ प्राधिकरण के अध्यक्ष विजय दुबे, मप्र राज्य योजना आयोग के उपाध्यक्ष चेतन्य काश्यप, महापौर डॉ. सुनीता यार्दे की उपस्थिति में हुआ। दुबे ने शुभारंभ को संबोधित करते हुए कहा कि कालिका माता मेले के लिए वे अपने विभाग से रतलाम को 10 लाख रुपए देने की घोषणा करते हैं।
पुलिस और पत्नी में समानता
लक्ष्मण नेपाली ने आते ही हास्य बिखेरते हुए जनता के बीच सीधा तारतम्य स्थापित करते हुए कहा कि पुलिस और पत्नी में काफी समानता है। पुलिस और पत्नी के आगे न कोई बोल पाया है और न बोल पाएगा। पत्नी को पति की जेब में पैसा अच्छा नहीं लगता है तो पुलिस…..। पीकर आने पर पति की खैरखबर पूछती पत्नी कभी चूप नहीं रह सकती है वैसे ही पुलिस भी……।
दिलीप शर्मा पुणे ने घोटालों पर पूर्व केंद्र सरकार के मंत्रियों से लेकर उनके नेताओं को जमकर लताड़ लगाई। उन्होंने कहा कि ये लोग घोटाला करके भी आराम से जी रहे हैं। उन्होंने पेरोडी के माध्यम से एक-एक घोटाले की परत खोली और कहा कि ईश्वर करे एक घोटाला मेरे नाम से भी हो जाए।
कोटा के कुंवर जावेद ने कहा…
वह लोग साहिबे कुरआन से नहीं हो सकते।
किसी भी धर्म की पहचान नहीं हो सकते।।
जो उग्रवाद को यारो जिहाद कहते हैं।
वह और कुछ है मुसलमान हो नहीं सकते।।
बलवंत बल्लू, ऋषभदेव ने कहा…
जिस दिन मेरे देश के युवाओं का संयम डोलेगा
ओबेसी तू क्या तेरा पूरा खानदान भारतमाता की जय बोलेगा।
डॉ. नम्रता नमिता भोपाल ने कहा..
गजल बनकर मेरे होठो को छू लो,
मैं तुमको गुनगुनाना चाहतू हूं,
तुम मिले तो धरा को गगन मिल गया।
प्रतीक रतलाम नेकहा…..
मेरे जन्म पर खुशियों का सबसे ज्यादा इजहार मेरे पिता ने किया था,
मेरे बचपन को खिलौने से गुलजार मेरे पिता ने किया था।
यूं तो इस दुनिया में पहला शब्द मैंने मां कहा था,
पर उस पल का सबसे ज्यादा इंतजार मेरे पिता ने किया था।
अबकी दशहरा अमर हमारी याद में कर दो मोदीजी। रावण दहन दिल्ली में नहीं इस्लामाबाद में कर दो मोदीजी।।
मंच संचालक शशिशकांत यादव शशि देवास ने सर्जिकल स्ट्राइक पर कहा....
प्राण जाए पर वचन न जाए, ये भारत की रीत है।
कोई नेता भ्रम न पाले ये सेना की जीत है।।
भीलवाड़ा के योगेंद्र शर्मा ने कहा…
हार नहीं मानी थी हमने युग के चांद सितारों से।
लेकिन अकसर हार गए हम घर के ही ग²ारों से।।