टीम इंडिया की नजर मिशन 2015 पर

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इंग्लिश धरती पर मुश्किल कंडीशन्स में टीम इंडिया बनी चैंपियन्स की चैंपियन्स लेकिन टीम को चैंपियन बनाने के साथ यह जीत ऐसे कई और तोहफे देकर गई जो जगा रही है टीम इंडिया के लिए 2015 में कंगारू धरती पर विश्व विजेता बनने की आस।जीत का जश्न देखकर हर हिंदुस्तानी क्रिकेट फैन इसे चैंपियन बनने का जश्न समझ रहा होगा लेकिन असल में जीत जगाती है 2015 वर्ल्ड कप में भ… टीम इंडिया की नजर मिशन 2015 पर

इंग्लिश धरती पर मुश्किल कंडीशन्स में टीम इंडिया बनी चैंपियन्स की चैंपियन्स लेकिन टीम को चैंपियन बनाने के साथ यह जीत ऐसे कई और तोहफे देकर गई जो जगा रही है टीम इंडिया के लिए 2015 में कंगारू धरती पर विश्व विजेता बनने की आस।जीत का जश्न देखकर हर हिंदुस्तानी क्रिकेट फैन इसे चैंपियन बनने का जश्न समझ रहा होगा लेकिन असल में जीत जगाती है 2015 वर्ल्ड कप में भी विश्वविजेता बने रहने की आस। यह जीत जगाती है भरोसा की दो हजार पंद्रग में ऑस्ट्रेलियाई सरजमीं पर होने वाले वर्ल्ड कप में भी टीम इंडिया के सिर ही सजा रहेगा ताज। मिशन 2015 के लिए कप्तान धोनी अगर दो साल पहले ही हुंकार भर रहे हैं तो इसके पीछे वजह है चैंपियनस ट्रॉफी ने टीम इंडिया को सिर्फ चैंपियन्स का चैंपियन ही नहीं बनाया लेकिन सुनहरे भविष्य के लिए सौगातों से भी लाद दिया है।मिल गई ओपनिंग जोड़ीयाद कीजिए चैंपियनस ट्रॉफी से पहले कैसे ठोस शुरुआत को तरस रही थी टीम इंडिया लेकिन इंग्लैंड की मुश्किल परिस्थितियों में शिखर और रोहित ने जगाया नया भरोसा। चैंपियनस ट्रॉफी ने दी है रोहित और धवन के तौर पर टीम इंडिया को धुआंधार सलामी जोड़ी। दो सौ और और दो पचास रन की साझेदारी के साथ चैंपियंस ट्रॉफी में धवन और रोहित की जोड़ी ने 5 मैचों में बनाए 382 रन।तुरुप का इक्का जडेजाहालांकि जडेजा हालिया पाकिस्तान सीरीज में वापसी के बाद से लगातार धूम मचा रहे हैं लेकिन चैंपियंस ट्रॉफी ने उन्हें बना दिया है विश्व क्रिकेट में ऑलराउंडर नंबर वन। जडेजा ना सिर्फ फाइनल मुकाबले में बल्ले और गेंद से गदर मचाने के साथ मैन ऑफ द मैच हैं बल्कि पूरे टूर्नामेंट में सबसे ज्यादा 12 विकेट झटककर गोल्डन बॉल के हकदार भी बने। अपने प्रदर्शन से जडेजा अब दे रहे हैं टीम विनंग कॉम्बिनेशन का बैलेंस।रफ्तार में लौटी धारकल तक ज़हीर खान के इर्द-गिर्द घूमती तेज गेंदबाज़ी में चैंपियन्स ट्रॉफी में भुवनेश्वर,उमेश और ईशांत के प्रदर्शन ने नईं जान फूंक दी है। नईं गेंद के साथ अपनी स्विग से ओपनर्स को निपटाने का भुवी का अदा, उमेश की बल्लबाज़ों कौ चौकाने वाली रफ्तार और ईशांत का पुरानी गेंद से सेट बल्लेबाज़ों को पवेलियन भेजने का हुनर ऑस्ट्रेलियाई कंडीशन्स में होने वाले 2015 विश्व कप के लिए नईं उम्मीद जगा रहा है।फील्डिंग में माइंड ब्लोइंगचैंपियंस ट्रॉफी में टीम इंडिया मे सबसे ज्यादा बदलाव कहीं दिखा है तो वो है फील्डिंग। फीलिडंग में हमेशा फिसड्डी माने जाने वाली टीम इंडिया आज विश्व की नंबर वन फील्डिंग यूनुट नज़र आ रही है और यही फील्डिंग चैंपियंस के रण में टीम इंडिया और बाकि टीमों में बडा फर्क साबित हुई। कुल मिलाकर धोनी का पूरा यंगिस्तान एक विनिंग पैकेज नजर आ रहा है और यही वजह है कि कप्तान को अब इसी में नजर आ रहे हैं 2015 के विश्व चैंपियन।