अभी देशभर के कई शहरों में मानसून के दस्तक से अच्छी खासी बारिश हो रही है। ऐसे में अगर हम आपसे कहें की एक ऐसा देश में एक ऐसा मंदिर है जहां बारिश के आने से पहले वो इसकी सूचना दे देता है, तो शायद आप यकीन नहीं करेंगे। लेकिन उत्तर प्रदेश के कानपुर शहर में एक मंदिर ऐसा है, जिसकी भवन की छत चिलचिलाती धूप में टपकने लगता है। इसके बाद बारिश की शुरुआत होते ही छत से पानी टपकना बंद हो जाता है।
यहां के ग्रामीण बताते हैं बारिश होने के छह-सात दिन पहले मंदिर की छत से पानी की बूंदे टपकने लगती है। साथ ही उन्होंने यह भी बताया कि जिस आकार की बूंदे टपकती हैं, बारिश भी उसी आधार पर होती है। यही नहीं यहां रह रहे लोग अब तो मंदिर की छत टपकने को पानी आने का संदेश को समझकर जमीनों को जोतने के लिए निकल पड़ते हैं। तो वहीं हैरान करने वाली बात यह है कि जैसे ही बारिश शुरु होती है, छत अंदर से पूरी तरह सूख जाती है।
मंदिर की प्राचीनता व छत टपकने के रहस्य के बारे में, मंदिर के पुजारी बताते हैं कि पुरातत्व विशेषज्ञ एवं वैज्ञानिक कई दफा आए, लेकिन इसके रहस्य को नहीं सुलझा नहीं पाए। बस इतना पता चला कि मंदिर का निर्माण 11वीं सदी में किया गया था। भगवान जगन्नाथ का यह मंदिर काफी प्राचीन भी है।