वतर्मान लाइफ स्‍टाइल ने भले ही बहुत सी सुख-सुविधाएं दी हों, लेकिन लगातार बढ़ता तनाव और बीमारियां  इसी की देन है । वतर्मान जीवन र्शैली अति व्‍यस्‍त होने के कारण  पूर्ण स्‍वस्‍थ शरीर एक सपने जैसे लगता है।  बढ़ते  तनाव कारण कई  बीमारियां शरीर को घेर लेती हैं। इन्‍हीं बीमारियों में से एक है डायबिटीज जो धीमे जहर की तरह काम करती है। यह आपको पता चले बिना ही बीमार बना सकती है लेकिन अच्छी बात यह है कि आप इसे कंट्रोल कर सकते हैं।
डायबिटीज को कंट्रोल में रखने के लिए रोज़ाना एक्सरसाइज करनी चाहिए।एक्सरसाइज न सिर्फ तनाव कम करती है, बल्कि बल्ड प्रैशर और कोलेस्ट्रेल लेवल को भी कंट्रोल करने में मदद करती है। हफ्ते में कम से कम 5 दिन आधा घंटा   एक्सरसाइज जरूर करनी चाहिए।
नियमित रूप से दिन कम से 2 बार अपने बल्ड शूगर लेवल चैक करें और ध्यान रखें कि यह आपके डॉक्टर द्वारा बताए गए नॉर्मल स्तर पर है या नहीं।साथ ही बल्ड प्रैशर  रिकॉर्ड करने के बाद लिखना न भूलें, इससे आप समझ पाएंगे कि बल्‍ड प्रैशर कब बढ़ या घट रहा है।
डायबिटीज ट्रीटमैंट दौरान आपकी डाइट एक अहम रोल अदा करती है। डाइट को या तो इंसुलिन इंजेक्शन या फिर हाइपोग्लामिक ड्रग्स के कॉम्बिनेशन के साथ लेना चाहिए।
ज्‍़यादा कार्बोहाइड्रेट्स वाले खाने से परहेज करना चाहिए।  खान पान  में  सुधार  करें, चीनी (sugar) एवं  अन्य मीठे पदार्थो का सेवन कम से कम करें या न करें, चोकर युक्त  आटा खाएंं, मीठे फलों को छोड़ कर अन्य फल  खाएं।
एक बार में ज्यादा खाने की बजाय भोजन  को छोटे-छोटे अंतराल में लें, घी तेल से बनी एवं तली भुनी चीजें जैसे-समोसे, कचौड़ी, पूड़ी, परांठे आदि का सेवन कम से कम करें, गेहूँ, जौ एवं चने को मिला कर बनाई हुई यानि मिस्सी रोटी शूगर की बीमारी  में बहुत फायदेमंद होती  है।
मधुमेह रोग में तनाव की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण होती है तनाव से बचने की कोशिश करें।
मेथी दाना
मेथी दाना डायबिटीज (मधुमेह)  में  बहुत उपयोगी है।  इसके लिए एक या दो चम्मच  मेथीदाना  एक गिलास पानी में रात में  भिगो दें। सुबह इस पानी को पी लें व मेथी को चबा चबा कर खाएं।
करेला  
करेला भी डायबिटीज के लिए अति महत्पूर्ण है इसके लिए करेले का जूस अकेले या आंवले के जूस में मिला कर 100-125 मिलीलीटर सुबह शाम  खाली पेट लें साथ ही करेले की सब्ज  बनाकर या चूर्ण के रूप  में  भी सेवन  कर सकते  हैं।
जामुन
जामुन का फल खाने  में जितना स्वादिस्ट   होता है उतना  ही शूगर की तकलीफ में लाभदायक  होता  है। इसके लिए जामुन के सीजन में जामुन के फल खाए जा सकते हैं तथा सीजन न होने पर जामुन की गुठली का चूर्ण सुबह शाम खाली पेट पानीके साथ लें  ।