जिले में कोचिंग संस्थानों को खोले जाने की अनुमति

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आगामी माहों में परीक्षाओं को दृष्टिगत रखते हुए विद्यार्थियों के शिक्षण के लिए जिले में कोचिंग संस्थानों को खोले जाने की अनुमति शर्तों के अधीन प्रदान की गई है। इस संबंध में कलेक्टर एवं जिला दंडाधिकारी श्री गोपालचंद्र डाड द्वारा दंड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा 144 के तहत संशोधित आदेश जारी किया गया है।

जारी आदेश में कहा गया है कि प्रत्येक कोचिंग संस्थान को अपने कक्ष में क्षेत्रफल को इंगित करते हुए आवेदन संबंधित अनुविभागीय दंडाधिकारी को प्रस्तुत करना होगा तथा प्रति 20 स्क्वायर फीट पर प्रत्येक विद्यार्थी के आधार पर कक्ष में संख्या का निर्धारण करते हुए अनुमति जारी की जाएगी। कोचिंग क्लास के कमरे में जिलेटिन शीट या अन्य माध्यम से शिक्षक तथा विद्यार्थियों के बीच पारदर्शी दीवार बनाकर सेपरेशन किया जावेगा।

इसी प्रकार प्रत्येक दो पीरियड अर्थात कालखंड के बीच न्यूनतम 1 घंटे का अंतराल होगा तथा इसी बीच अध्ययन कक्ष को 01 प्रतिशत सोडियम हाइपो क्लोराइड के सॉल्यूशन से सेनीटाइज किया जाएगा। कोचिंग क्लासेज के समक्ष शिक्षकों तथा अन्य स्टाफ के साथ साथ सभी विद्यार्थियों का भी rt-pcr अर्थात कोविड-19 टेस्ट कराना अनिवार्य होगा। कोचिंग संस्थान को प्रत्येक विद्यार्थी के अभिभावक की लिखित सहमति लेना अनिवार्य होगी। समस्त संचालकगण, विद्यार्थी फेस मास्क एवं सोशल डिस्टेंसिंग का पालन अनिवार्य रूप से करेंगे। कोचिंग संस्थान में विद्यार्थियों को प्रवेश के पूर्व थर्मल स्कैनिंग एवं पल्स ऑक्सीमीटर से जांच की जाएगी। जांच में विपरीत रिपोर्ट आने पर तत्काल उनके अभिभावक एवं जिला कोविड-19 कमांड कंट्रोल सेंटर के दूरभाष नंबर 1075 पर अवगत कराया जाएगा। आदेश के उल्लंघन की स्थिति में भारतीय दंड संहिता 1860 की धारा 188 के अंतर्गत कार्रवाई कर उल्लंघनकर्ता के विरुद्ध प्रकरण पंजीबद्ध किया जाएगा।