टेलीविजन प्रोग्रामों की क्वालिटी ठीक नहीं: रॉनित रॉय

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टीवी के मशहूर अभिनेता रॉनित रॉय को लगता है कि छोटे पर्दे की गुणवत्ता में वृद्धि होनी चाहिए। रॉनित ने बताया, टीवी में संख्यात्मक रूप से तो वृद्धि हुई है, लेकिन गुणवत्ता नहीं बढ़ी है।

उन्होंने आगे कहा, कुछ लोग विषय वस्तु के जरिए गुणवत्ता लेकर आए हैं लेकिन सभी कुछ लगभग एक जैसा ही है। डेली सोप आज भी लगभग उसी तरह के हैं, जिस तरह वे पहले थे। रॉनित आने वाल…

टीवी के मशहूर अभिनेता रॉनित रॉय को लगता है कि छोटे पर्दे की गुणवत्ता में वृद्धि होनी चाहिए। रॉनित ने बताया, टीवी में संख्यात्मक रूप से तो वृद्धि हुई है, लेकिन गुणवत्ता नहीं बढ़ी है।

उन्होंने आगे कहा, कुछ लोग विषय वस्तु के जरिए गुणवत्ता लेकर आए हैं लेकिन सभी कुछ लगभग एक जैसा ही है। डेली सोप आज भी लगभग उसी तरह के हैं, जिस तरह वे पहले थे। रॉनित आने वाले तीन से पांच सालों में छोटे पर्दे पर गुणवत्ता देखने की उम्मीद रखते हैं।

काफी समय से टीवी का हिस्सा रहे रॉनित क्यूंकि सास भी कभी बहू थी में मिहिर वीरानी, कसौटी जिंदगी की में मिस्टर बजाज जैसी कई यादगार भूमिकाएं निभा चुके हैं। उन्हें इस बात की खुशी है कि छोटे पर्दे पर उनके सफर के दौरान उनके दर्शक बढ़े हैं। रॉनित इन लोगों का मनोरंजन करते रहने का आश्वासन देते हैं।

उन्होंने कहा, मेरे पास दुनिया भर से दर्शक हैं। मुझे लगता है कि ये मेरी किस्मत ही है कि मुझे इतने बढि़या शो का हिस्सा बनने का मौका मिला।

रॉनित नई सुपर नेचुरल सीरिज खौफ की अदालत को लेकर काफी उत्साहित हैं। यह अदालत पर आधारित उनके नाटक अदालत का एक नया मोड़ है। इसमें रॉनित एक स्वतंत्र वकील की भूमिका में हैं।  

रॉनित ने कहा, मेरा किरदार केडी सुपर नेचुरल कहानियों को प्रोत्साहित नहीं कर रहा। यह कहानियों के जरिए दर्शाता है कि लोगों द्वारा अंधविश्वास का इस्तेमाल किस तरह किया जाता है। इस प्रारूप के जरिए हमने बाबाओं से जुड़ी रूढि़यां तोड़ने और लोगों को सत्य में यकीन रखने के लिए प्रोत्साहित करने की कोशिश की है।

रॉनित कहते हैं कि वे इस शो के जरिए लोगों को कानून सिखाने की कोशिश नहीं करते। उन्होंने कहा, किसी चुटकुले या सामाजिक संदेश के जरिए हम दर्शकों का मनोरंजन करने और उन्हें सत्य का पाठ पढ़ाने की कोशिश करते हैं।