रतलाम। लोकायुक्त उज्जैन की टीम ने भ्रष्टाचार निवारण विशेष न्यायाधीश एमएस चंद्रावत की कोर्ट में सोमवार को दस हजार की रिश्वत लेने के आरोपी पिपलोदा थाना प्रभारी नरेंद्र गोमे व आरक्षक रमेश सुनिया के खिलाफ चालान पेश किया।
प्राप्त जानकारी के अनुसार 13 फरवरी 2015 को शिकायतकर्ता इटावा माताजी निवासी छगनलाल साथी प्रदीप पाटीदार के साथ लोकायुक्त उज्जैन एसपी को शिकायत दी थी। अलकापुरी निवासी श्यामलाल की पुत्री मामा नरेंद्र शर्मा के पास कंचनखेड़ी रहती थी। उनके लड़के सतीश के साथ तीन माह पहले भाग गई थी। उन्होंने मंदिर में शादी कर ली थी।
देवास एसडीएम के पास बयान दर्ज हुए थे। लड़की के मामा नरेंद्र ने पिपलोदा थाने में गुमशुदगी दर्ज कराई थी। वह टीआई नरेंद्र गोमे मामले की जांच कर रहें थे। 12 फरवरी 2015 को समीश की अग्रिम जमानत न्यायालय से करा ली थी। जिसके बाद थाने में पेश हुए थे। न्यायालय में पेश करने के लिए थाना प्रभारी 10 हजार रुपए की रिश्वत मांग रहा था। फरियादी रिश्वत नहीं देना चाहता था और लोकायुक्त को शिकायत की।
लोकायुक्त डीएसपी एमएस शक्तावत ने 17 फरवरी को मामले का सत्यापन कर वाइस रिकॉर्ड की। 18 फरवरी को लोकायुक्त टीम कार्रवाई के लिए पिपलौदा रवाना हुई। थाना प्रभारी की टेबल पर फरियादी ने दस हजार रुपए रखे थे। लोकायुक्त टीम का अभास होने पर थाना प्रभारी की टेबल से रुपए लेकर कांस्टेबल रमेश सुलिया चेम्बर से भाग निकला था। कागज में लपेट कर थाने के पीछे गेंहू के खेत में रख दिए थे। लोकायुक्त की टीम ने पीछा कर उसे पकड़ा और रिश्वत की राशि बरामद कर टीआई और कांस्टेबल के साथ कार्रवाई की थी।