पेट्रोल और डीजल की कीमतों में एक बार फिर आग लग सकती है। पेट्रोल की कीमत में 1-2 रुपए और डीजल की कीमत 50 पैसे से 1 रुपए तक बढ़ सकती है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में रुपए की घटती वैल्यू को इसकी वजह माना जा रहा है।
दरसअल, इन दिनों रुपया पिछले 10 माह के निचले स्तर पर पहुंच गया है जिससे आयात महंगा हो गया है। इसका असर दूसरे उत्पादों के साथ-साथ पेट्रोल की की…
पेट्रोल और डीजल की कीमतों में एक बार फिर आग लग सकती है। पेट्रोल की कीमत में 1-2 रुपए और डीजल की कीमत 50 पैसे से 1 रुपए तक बढ़ सकती है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में रुपए की घटती वैल्यू को इसकी वजह माना जा रहा है।
दरसअल, इन दिनों रुपया पिछले 10 माह के निचले स्तर पर पहुंच गया है जिससे आयात महंगा हो गया है। इसका असर दूसरे उत्पादों के साथ-साथ पेट्रोल की कीमतों पर भी पड़ रहा है। इसलिए पेट्रोलियम कंपनियों ने घाटा कम करने के लिए दाम बढ़ाने का विचार किया है, जिसे अगले कुछ दिनों में अमली जामा पहना दिया जाएगा। सूत्रों की मानें तो जून के पहले हफ्ते में ही पेट्रोल और डीजल बढ़े हुए दाम में ग्राहकों को मिलने लगेगा।
हालांकि यदि पेट्रोलियम मंत्रालय की मंजूरी मिल जाती है तो कीमत वृद्धि 1 जून से लागू हो सकती है।
बता दें कि डॉलर के मुकाबले रुपया घटकर 56.38-39 प्रति डालर तक नीचे आ गया है। मार्च में हुए मूल्य संशोधन की तुलना में रुपये में दो रुपये प्रति डालर की गिरावट आई है। यदि ऐसा होता है तो पेट्रोल कीमतों में तीन माह में यह पहली मूल्यवृद्धि होगी।
वैसे पेट्रोल के दाम बढ़ाए जाते हैं, तो इससे आमजन की इस्तेमाल की जाने वाली चीजों में वृद्धि न के बराबर होगी, लेकिन डीजल के दाम बढ़ने से लगभग हर चीज के दाम बढ़ने तय हैं।