इमालवा – नई दिल्ली । दिल्ली में पांच साल की मासूम से रेप के मामले को लेकर विरोध प्रदर्शन जारी है। प्रदर्शनकारी दिल्ली के पुलिस कमिश्नर नीरज कुमार को हटाने की मांग कर रहे हैं लेकिन सरकार उनको हटाने के मूड में नहीं है।
निजी चैनलों के हवाले से आ रही खबरों के मुताबिक सरकार नीरज कुमार को नहीं हटाएगी। नीरज कुमार ने सोमवार को दिल्ली के उप राज्यपाल तेजिंदर खन्ना से मुलाकात की। गृह मंत्रालय ने भी नीरज कुमार को तलब किया गया। गृह मंत्री सुशील कुमार शिंदे ने रेप की घटना को लेकर सोमवार को सदन के पटल पर बयान रखा।
इसमें नीरज कुमार के खिलाफ कार्यवाही को लेकर कुछ नहीं कहा गया है। बयान में सिर्फ घटना से जुड़े तथ्यों का जिक्र है। इससे सवाल खड़ा हो रहा है कि क्या गृह मंत्रालय ने नीरज कुमार को क्लीन चिट दे दी है?
शिंदे ने बयान में कहा है कि रेप सिर्फ दिल्ली में ही नहीं हो रहे हैं। ऎसी घटनाएं देशभर से सामने आ रही है। शिंदे ने इस बयान के जरिए भाजपा को यह संदेश देने की कोशिश की है कि वह रेप की घटना को लेकर राजनीति न करें क्योंकि भाजपा शासित राज्यों में भी बलात्कार हो रहे हैं।
मामले को दबाने के आरोपों की होगी जांच
गृह मंत्री ने कहा पुलिस की ओर से बरती गई लापरवाही और मामले को दबाने के आरोपों की जांच के आदेश दिए गए हैं। मामले की जांच जब तक पूरी नहीं हो जाती तब तक एसएचओ और आईओ निलंबित रहेंगे।
ज्वाइंट सीपी (विजिलेंस) को मामले की जांच का जिम्मा सौंपा गया है। ज्वाइंट सीपी उन आरोपों की भी जांच करेंगे जिनमें कहा गया है कि पुलिस वालों ने पीड़िता के पिता को रिश्वत देकर मामले की जानकारी मीडिया को नहीं देने को कहा था।
गौरतलब है कि पीड़िता के पिता ने आरोप लगाया था कि कुछ पुलिस कर्मियों ने उन्हें 2 हजार रुपए देकर मामले को दबाने को कहा था। गृह मंत्री ने बताया कि इस मामले में दो लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
दूसरे संदिग्ध प्रदीप को बिहार से गिरफ्तार किया गया है। दिल्ली और बिहार पुलिस ने संयुक्त अभियान के तहत उसे गिरफ्तार किया। मुज्जफरपुर से गिरफ्तार आरोपी मनोज का 19 अप्रेल को मेडिकल परीक्षण कराया जाएगा।