अहमदाबाद।यौन शोषण के आरोपों से घिरा आसाराम बुधवार को फफक-फफक कर रो पड़े। यौन उत्पीड़न के आरोपों के चलते पिछले कई दिनों से हिरासत में चल रहे आसाराम बुधवार को चिकित्सा जांच के बाद काफी व्यथित दिखाई दिया।
सूत्रों के अनुसार सरखेज-गांधीनगर हाईवे पर स्थित गुजरात पुलिस के आतंकवाद निरोधक दस्ता (एटीएस) के मुख्यालय में आसाराम अपने वकीलों के समक्ष रो पड़े। स्वयंभू आसाराम ने वकीलों को यह बताया कि “वह आज जितना कभी परेशान नहीं हुए। कांस्टेबल के व्यवहार से वह काफी व्यथित दिखें।” वकीलों के समक्ष आसाराम ने उनके हाथ-पैर पकड़ कर यह कहा कि मुझे इस जंजाल से जल्द से जल्द निकालो।
इससे पूर्व बुधवार सुबह शहर के सोला सिविल अस्पताल और फिर शाम को असारवा सिविल अस्पताल में विशेष जांच दल (एसआईटी) की ओर से कराई गई स्वास्थ्य जांच में आसाराम पूरी तरह से स्वस्थ पाया गया है। दोनों ही अस्पतालों में जांच के दौरान उसका पुरूषत्व परीक्षण भी करने का प्रयत्न किया गया, लेकिन आसाराम के सहयोग न देने से परीक्षण फिलहाल पूर्ण नहीं हो पाया है। दोनों ही स्थलों पर परोक्ष रूप से पुरूषत्व से जुड़ी जांच की गई बताई जाती है।
इसके बाद आसाराम को पुन: कड़े सुरक्षा बंदोबस्त के बीच एटीएस मुख्यालय लाकर बंद रखा गया है। आसाराम से मंगलवार रात को भी पूछताछ की गई। आसाराम इन दिनों खाने में फल व दूध ले रहा है। सोला सिविल अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. एच.के. भावसार ने स्वास्थ्य जांच में आसाराम के स्वस्थ होने की पुष्टि की है। उन्होंने बताया कि आसाराम के यूरिन, रक्त के नमूने लिए गए। इसके अलावा उसके ह्वदय व किडनी की भी जांच की गई। हालांकि पुरूषत्व जांच के लिए वो तैयार नहीं हुआ, जिससे ये जांच नहीं हो पाई।
इसके बाद बुधवार शाम को पुरूषत्व परीक्षण के लिए आसाराम को असारवा स्थित सिविल अस्पताल ले जाया गया, यहां भी आसाराम का सहयोग न मिलने के चलते यह परीक्षण पूर्ण नहीं हो पाया। असारवा सिविल अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. एम.एम. प्रभाकर ने बताया कि आसाराम का सहयोग न मिलने से उसका पुरूषत्व परीक्षण नहीं हो सका। उसके बाल, लार और रक्त के नमूने जांच को लिए गए हैं। कलर डॉपलर टेस्ट भी अधूरा छोड़ना पड़ा।
वैसे इससे पहले जोधपुर पुलिस भी नाबालिग के साथ यौन उत्पीड़न के मामले में आसाराम का पुरूषत्व परीक्षण करा चुकी है जिसमें वो सक्षम पाया गया है। सूत्रों का कहना है कि आसाराम यदि पुरूषत्व परीक्षण के लिए तैयार नहीं होता है, सहयोग नहीं देता है तो एसआईटी जोधपुर में हुए इस परीक्षण को ही आधार के रूप में उपयोग कर सकती है।
लाई डिटेक्टर टेस्ट की तैयारी
सूत्रों का कहना है कि आसाराम पर लगा यौन शोषण का आरोप काफी पुराना होने से व फिलहाल घटनास्थल शांति वाटिका के अस्तित्व में न होने से उससे जुड़े सबूत जुटाने के लिए पुलिस आसाराम का लाई डिटेक्टर टेस्ट कराने की तैयारी में जुटी है। किस स्थल पर शांति वाटिका थी उसे चिन्हित करने के लिए एसआईटी एक-दो दिन में आसाराम को घटनास्थल पर ले जा सकती है। इस दौरान घटना का री कंस्ट्रक्शन भी किया जाएगा। इसके बाद वो आसाराम और पीडिता को आमने-सामने बिठाकर भी पूछताछ करेगी।