कांग्रेस नेता राहुल गांधी केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर लगातार हमला कर रहे हैं. उन्होंने एक बार फिर प्रधानमंत्री पर निशाना साधते हुए ट्वीट किया कि नौकरी छीन ली और बीमारी रोक नहीं पाए मगर वो शानदार सपने दिखाते हैं.
राहुल गांधी ने मंगलवार को अपने ट्वीट में कहा कि नौकरी छीन ली, जमा पूंजी हड़प ली, बीमारी भी फैलने से नहीं रोक पाए. मगर वो शानदार झूठे सपने दिखाते हैं.
राहुल ने उस खबर का जिक्र करते हुए यह टिप्पणी कि जिसमें कोरोना संकट की वजह से आर्थिक तंगी से जूझ रहे लोगों ने भविष्य निधि (PF) पीएफ से कुल 30,000 करोड़ रुपये निकाल लिए हैं.
कोरोना संकट के बीच लॉकडाउन की वजह से बड़ी संख्या में लोग बेरोजगार हो गए हैं. लाखों लोगों की नौकरी चली गई. ऐसे में लोगों को राहत देने के लिए कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) ने लोगों को अपने पीएफ का कुछ हिस्सा एडवांस निकालने की सुविधा दी.
एक रिपोर्ट के मुताबिक अप्रैल से जुलाई तक करीब 80 लाख सब्सक्राइबर्स ने EPFO से 30 हजार करोड़ रुपये का फंड निकाल लिया है. ईपीएफओ करीब 10 लाख करोड़ का फंड मैनेज करता है और इसके सब्सक्राइबर्स की संख्या करीब 6 करोड़ है.
उर्जित पटेल के बयान पर निशाना साधा
इससे पहले आज ही एक और ट्वीट के जरिए भी राहुल ने मोदी सरकार पर निशाना साधा था. रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (आरबीआई) के पूर्व गवर्नर उर्जित पटेल के बयान को आधार बनाते हुए राहुल गांधी ने ट्वीट किया कि पीएम मोदी ने विलफुल डिफॉल्टर्स को बचाने का काम किया.
आरबीआई के पूर्व गवर्नर उर्जित पटेल की हाल ही में एक किताब आई है, जिसमें उन्होंने इस बात का जिक्र किया कि मोदी सरकार लोन न चुकाने वालों पर नरमी बरत रही थी और आरबीआई को भी नरमी बरतने का निर्देश दिया गया था.
इसी पर केंद्र सरकार को घेरते हुए राहुल गांधी ने लिखा कि वह (उर्जित पटेल) बैंकिंग सिस्टम को साफ करने में लगे थे, लेकिन उसकी वजह से उनकी नौकरी चली गई. क्यों, क्योंकि पीएम मोदी लोन नहीं चुकाने वालों पर एक्शन नहीं लेना चाहते थे.