बिहार के छपरा में मिड-डे मील खाने से हुई 21 बच्चों की मौत का मामला अभी शांत भी नहीं हुआ था कि बिहार के मधुबनी में मिड-डे मील खाने से 15 बच्चों की तबीयत बेहद खराब हो गई है।
अब मिड-डे मील को लेकर बच्चों में खौफ पैदा होने लगा है। बच्चे मिड-डे मील को देखकर घबरा रहे हैं। बिहार के मधुबनी में मिड-डे मील खाने से 15 बच्चे बेहोश हो गए हैं। बताया जा रहा है…
बिहार के छपरा में मिड-डे मील खाने से हुई 21 बच्चों की मौत का मामला अभी शांत भी नहीं हुआ था कि बिहार के मधुबनी में मिड-डे मील खाने से 15 बच्चों की तबीयत बेहद खराब हो गई है।
अब मिड-डे मील को लेकर बच्चों में खौफ पैदा होने लगा है। बच्चे मिड-डे मील को देखकर घबरा रहे हैं। बिहार के मधुबनी में मिड-डे मील खाने से 15 बच्चे बेहोश हो गए हैं। बताया जा रहा है कि बच्चों को मिड-डे मील में खिचड़ी परोसी गई थी जिसे खाने के बाद 15 बच्चों की तबीयत बिगड़ गई और वे बेहोश हो गए।
मामले की गंभीरता को देखते हुए जानकारी मिलते ही मौके पर डॉक्टरों की टीम पहुंची और उन्होंने बच्चों को हॉस्पिटल के लिए रेफर कर दिया। डॉक्टरों ने बताया कि आज स्कूल में मीड-डे मील में खिचड़ी परोसी गई थी जिसे खाने के बाद बच्चों को उल्टियां शुरू हो गईं और देखते ही देखते 15 बच्चे बेहोश हो गए।
डाक्टरों ने बताया कि अभी यह पता नहीं चल पाया कि आखिर खिचड़ी में ऐसा क्या था कि बच्चों की तबीयत खराब हो गई, लेकिन उन्होंने इतना जरूर बताया कि कुछ तो खिचड़ी में ऐसा था जिन्होंने बच्चों के स्वास्थ्य पर बुरा असर डाला।
गौरतलब है कि मंगलवार को ही बिहार के छपरा के एक सरकारी स्कूल में मिड-डे मील खाने के बाद 20 बच्चों समेत 21 लोगों की मौत हो गई, जबकि करीब 50 बच्चे अभी भी अस्पताल में हैं।
मिड डे मील योजना की शुरुआत तो हुई थी गरीब बच्चों को मुफ्त खाना खिलाने के लिए लेकिन जो कुछ छपरा के स्कूल में हुआ उसके बाद इस योजना के बंदोबस्त पर सवाल उठने लगे हैं। कठघरे में बिहार की नीतीश सरकार भी है।
उधर बिहार के शिक्षा मंत्री पीके शाही का कहना है कि छपरा के मिड-डे मील हादसे में किसी साजिश की आशंका से इंकार नहीं किया जा सकता है। इस हादसे में 20 बच्चों समेत 21 लोगों की मृत्यु हो गई है।