हाथ-पैर न होने के बाद भी यह व्यक्ति है एक मिसाल

0

हम जिंदगी में कई बार उतार चढ़ाव होने के कारण जीने की चाह छोड़ देते हैं | कुछ लोग मुश्किलों से जूझने के बावजूद भी पूरी दुनिया में अपना नाम रोशन करते हैं |आज हम आपको एक ऐसे शख्स के बारे में बताने जा रहे हैं जो बचपन से ही मुश्किलों से जूझ रहा है उसके बावजूद भी उसने पूरी दुनिया में अपना नाम रोशन किया है |आइए जानते हैं उसके बारे में…..

हम जिस के बारे में आपको बताने जा रहे हैं | उनका नाम निकोलस वुजिसिक है |वह ऑस्ट्रेलिया में रहते हैं |उनकी उम्र 34 साल है| निकोलस जब पैदा हुए थे तब उनके हाथ और पैर नहीं थे |उनके माता पिता ने उनका बहुत इलाज करवाया |लेकिन नाकामयाबी ही प्राप्त हुई |इतना इलाज होने के बावजूद भी निकोलस ने अपने जीने की चाह नहीं छोड़ी और आम लोगों की तरह अपना जीवन दिया |

अपनी पहचान बनाई 
निकोलस ने अपना पहला भाषण मात्र 19 साल की उम्र में दिया था |उसके बाद उन्होंने पूरी दुनिया में एक सफल प्रेरक वक्ता के तौर पर अपना नाम रोशन किया है |वह अपनी प्रेरणादायी बातों से लोगों में जोश भरते हैं | आज दुनिया में उनके कई फैंस हैं |जो उनकी बातों से बहुत प्रभावित होते हैं | निकोलेस को कई पुरस्कार भी मिले हैं |

जिंदगी जीने का नजरिया 
निकोलस एक लेखक संगीतकार है इसके अलावा उन्हें पेंटिंग और स्विमिंग का भी शौक है |यहां तक की वो तेराकी और सर्फिंग भी करते हैं | निकोलस ने अपने जिंदगी जीने का नजरिया ही बदल दिया है |यहा कुछ लोग छोटी-छोटी बातों से परेशान हो जाते हैं |वहीं निकोलस जैसे लोग यह साबित करते हैं कि असंभव कुछ भी नहीं है |परेशानियों से ही लड़कर कामयाबी मिलती है |