खेती के लिए किसानों द्वारा अमृत सागर तालाब का पानी चोरी किया जा रहा था, वह भी निगम की बिजली से। गुरुवार को एक मोटर तालाब के पानी में चलती मिली। कनेक्शन की पड़ताल की तो पता चला कि मोटर का तार अमृत सागर बगीचे के अंदर लगे ट्यूबवेल के बिजली कनेक्शन से जुड़ा था। मोटरपंप भेरूलाल राठौड़ मथुरीवाला का है, जिसे जब्त कर लिया गया है।

सफाई के लिए अमृत सागर तालाब में पहले दिन जैसे ही जेसीबी चलना शुरू हुई थी। आनन-फानन में किसान बगीचे के पीछे वाली छोटी पुलिया के यहां लगी कुछ मोटरें निकाल ले गए थे। बुधवार को एक और मोटर मिली, जो बगीचे की बाउंड्रीवॉल से भी आगे रोड से लगभग 400 फीट अंदर पानी में लगी थी। बिजली का तार अंडरग्राउंड बगीचे में लगे ट्यूबवैल के कनेक्शन तक जा रहा था। पार्षदों की मौजूदगी में स्वास्थ्य अधिकारी ने मोटर जब्त की। वरिष्ठ अधिकारी की अनुशंसा के बाद अब एफआईआर दर्ज कराने की कार्रवाई की जा रही है।

100 ट्रैक्टर-ट्रॉली व डंपर मिट्टी निकाली

तालाब की सफाई के तीसरे दिन गुरुवार तक 100 ट्रैक्टर-ट्रॉली व डंपर मिट्टी निकाली जा चुकी है। तीसरे दिन दोपहर बाद निगम ने तीन जेसीबी लगाई। मिट्टी ले जाने वाले किसानों की संख्या भी बढ़ती जा रही है। स्वास्थ्य अधिकारी राजेंद्रसिंह पंवार ने बताया गुरुवार को जलकुंभी निकालने की शुरुआत हो गई है। इसके लिए रोजाना चल रही 10 कर्मचारियों की जगह 20 कर्मचारी लगाए गए। पहले दिन पांच डंपर जलकुंभी निकलवाकर जुलवानिया ट्रेंचिंग ग्राउंड फिंकवाई। पानी निकालने के लिए कैनाल गहरीकरण किया जा रहा है। दो मोटर पंप लगाकर तालाब का पानी भी लगातार निकाला जा रहा है।

ये लोग दे रहे सहयोग

सफाई में सहयोग करने वालों में स्वास्थ्य समिति प्रभारी भगतसिंह भदौरिया, राकेश मीणा, नंदकिशोर पंवार, सुशील कुमावत, महेंद्रसिंह चंद्रावत, जाकिर रावटीवाला, अनिल गोखरू, हेमंत राहोरी सहित कुछ अन्य शामिल हैं।

By parshv