मुख्य सचिव श्री एसआर मोहन्ती ने गुरूवार 14 फरवरी को वीसी के माध्यम से प्रदेश के संभागायुक्तों एवं जिला कलेक्टरों को निर्देश दिये कि लोकसभा निर्वाचन के दौरान निर्वाचन आयोग के दिशा-निर्देशों का कड़ाई से पालन सुनिश्चित करने के साथ-साथ राजस्व प्रकरणों के निराकरण की प्रक्रिया भी निरन्तर जारी रहे। कानून व्यवस्था की स्थिति पर नियंत्रण रखा जाये। इसके लिये सभी आवश्यक कदम उठाये जायें। जिला कलेक्टर अपराधों के प्रकरणों की भी समय-समय पर समीक्षा करें। ‘जय किसान फसल ऋण माफी योजना’ के अन्तर्गत कर्ज माफी के प्रमाण-पत्र किसानों को इसी माह वितरित किये जायेंगे। इस हेतु तहसील स्तर पर समारोहपूर्वक कार्यक्रम आयोजित किये जायेंगे। कार्यक्रम में क्षेत्रीय जनप्रतिनिधि, मंत्री शामिल होंगे। प्रदेश के कुछ तहसील स्तरीय कार्यक्रमों में मुख्यमंत्री श्री कमलनाथ भी भाग लेंगे। इस दौरान रतलाम एनआईसी कक्ष में कलेक्टर श्रीमती रूचिका चौहान, अपर कलेक्टर श्री जितेन्द्र सिंह चौहान, उप संचालक कृषि श्री जी.एस मोहनिया, उपायुक्त सहकारिता श्री परमानंद गोडरिया आदि उपस्थित थे।

मुख्य सचिव ने जिला कलेक्टरों को निर्देश दिये हैं कि जिन समस्याओं का निराकरण जिला स्तर पर ही हो सकता है, उन्हें राज्य स्तर पर न भेजें। जिला स्तर पर समस्याओं का निराकरण न होने की दशा में ही उन्हें राज्य शासन स्तर पर भेजा जाये। संभागायुक्त इसकी मॉनीटरिंग करें। मुख्य सचिव ने जिला कलेक्टरों को निर्देश दिये कि आने वाले समय में पेयजल व्यवस्था पर विशेष ध्यान दिया जाये। लोक स्वास्थ्य, जल संसाधन आदि विभागों के साथ समन्वय स्थापित कर जिन क्षेत्रों में पेयजल समस्या हो, वहां की व्यवस्था पूर्व से ही सुनिश्चित की जाये। विद्युत आपूर्ति निर्बाध रूप से की जाये तथा इसकी मॉनीटरिंग संभागायुक्त करें। मुख्यमंत्री युवा स्वाभिमान योजना के क्रियान्वयन के बारे में भी विस्तार से जानकारी दी गई। वीसी में मुख्य सचिव द्वारा प्रदेश में कानून व्यवस्था की समीक्षा करते हुए कलेक्टर्स को निर्देशित किया गया कि राष्ट्रीय सुरक्षा कानून तथा जिलाबदर जैसे मामलों में अधिकारों का दुरूपयोग कतई नहीं हो। अत्यंत गंभीर प्रकरणों में ही राष्ट्रीय सुरक्षा कानून तथा जिलाबदर कार्रवाइयां की जाए। जहां तक संभव हो, धारा 110, 151 में ही कार्रवाई की जाना उचित होगी। मुख्य सचिव ने स्पष्ट कहा कि प्रतिबंधात्मक कार्रवाइयां करने में कलेक्टर देर नहीं करे।